सफेद मूसली से ताकत सिर्फ पुरुषों के लिये नहीं – Safed Musli

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सफेद मूसली Safed musali  दुनिया भर में यौन शक्ति वर्धक , बलवर्धक और नपुंसकता दूर करने की दवा के रूप में अपनी पहचान बना चुकी है। विदेशों में सफेद मूसली Safed musly की बहुत मांग है।

यह सिर्फ यौन शक्ति बढ़ाने की दवा नहीं है इसका उपयोग अस्थमा , चर्म रोग , पेशाब संबंधी रोग , पाईल्स तथा विशेषकर डायबिटीज के उपचार आदि में भी किया जाता है।

हड्डियों की कमजोरी और मांसपेशियों की कमजोरी में भी यह प्रभावकारी होती है। आयुर्वेदिक दवा के अलावा यूनानी , होम्योपैथिक और एलोपैथी दवा में भी इसका उपयोग किया जाता है। यह धोली मूसली Dholi Musly के नाम से भी जानी जाती है । इंग्लिश में इसे क्लोरोफ़ायटम बोरीविलिनम कहते है।

सफेद मूसली का छोटा सा पौधा होता है जिसमे सफेद फूल लगते है। इसकी जड़ को धोकर , छिलका हटा कर सुखाया जाता है। सूखने के बाद इसे बाजार में बेचा जाता है।

सफ़ेद मूसली के फायदे

यह सूखी हुई सफेद मूसली हमें बाजार में देखने को मिलती है जो कि एक जड़ है। यह काफी महँगी होती है। इसकी व्यावसायिक खेती भी की जाने लगी है। लेकिन इसकी जितनी मांग है उतना उत्पादन नहीं हो पाता है। मध्यप्रदेश , राजस्थान तथा गुजरात इसका उत्पादन करने वाले प्रमुख राज्य है।

सफ़ेद मूसली के फायदे मंद तत्त्व – Safed Musli Nutrients

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इसमें मौजूद सैपोनिन तथा यूनिक नेचुरल अल्कालोइड्स की अच्छी मात्रा के कारण यह यौन शक्ति तथा ताकत बढ़ाने की दवा के रूप में काम करती है।

इनके अलावा इसमें प्रोटीन , कर्बोहार्डड्रेट , एंटीऑक्सीडेंट तथा कई विटामिन भी पाए जाते है।

आयुर्वेद के अनुसार पित्त दोष तथा वात दोष को मिटाने के लिए सफ़ेद मूसली का उपयोग करना चाहिए लेकिन यह कफ बढ़ा सकती है। अतः जिन्हें  कफ रहता है उन्हें सफ़ेद मूसली का उपयोग नहीं करना चाहिए।

यह पुरुष और महिला दोनों के लिए समान रूप से एक बेहतरीन टोनिक के रूप में काम करती है। इसके साइड इफ़ेक्ट होने की सम्भावना बहुत कम होती है।

सफेद मूसली के फायदे – Safed Musly Benefits

पुरुषों के लिए – Safed musli for man

सफेद मूसली कई प्रकार से शरीर के लिए लाभदायक होती है। वैवाहिक जीवन में यौन सम्बन्ध के लिए विशेष रूप से इसका उपयोग फायदेमंद होता है। पुरुषों के लिए यह वीर्य वर्धक, शुक्राणु वर्धक तथा शक्ति वर्धक होती है।

यौन कमजोरी , शीघ्रपतन , स्वप्नदोष  आदि परेशानियों में सफेद मूसली का उपयोग अश्वगंधा , कौंच बीज तथा ताल मखाना आदि के साथ किया जाता है जो एक विश्वसनीय दवा के रूप में लाभ देता है।

सफेद मूसली डायबिटीज के कारण होने वाली उत्तेजना में कमी को भी दूर करने में सक्षम है। इसके लिए विशेषज्ञ की सलाह के बाद इसे लेना चाहिए।

आयुर्वेद के अनुसार शरीर में पित्त और वात के बढ़ने के कारण स्वप्नदोष जैसी परेशानी पैदा होती है। अश्लील फिल्मे देखने या अश्लील वार्तालाप में हिस्सा लेने आदि के कारण इस समस्या में बढ़ोतरी होती है।

सफ़ेद मूसली पित्त दोष और वात दोष दोनों के उपचार में कारगर होती है। इसके अलावा यह मांसपेशियों को भी ताकत देती है। इन प्रभाव के कारण स्वप्नदोष को मिटाने में यह उपयोगी साबित होती है। इसे लेने से स्वप्नदोष ठीक होने के अतिरिक्त इसके कारण महसूस होने वाली कमजोरी , कमर दर्द आदि में भी आराम आता है।

पुरुष के वीर्य में स्खलन के समय लगभग 10 करोड़ शुक्राणु होते है। इनकी संख्या मे कमी आने पर , इनके कमजोर होने पर तथा गतिशीलता कम होने पर शुक्राणु द्वारा डिम्ब का निषेचित होना मुश्किल हो जाता है। इस वजह से गर्भ ठहरने में दिक्कत आ सकती है।

यदि वीर्य की कमी होती है या वीर्य गाढ़ा नहीं होता है तो भी गर्भ धारण में दिक्कत आ सकती है। सफ़ेद मूसली इन सभी समस्या को दूर करने में उपयोगी साबित हो सकती है। इसके उपयोग से शुक्राणु की संख्या में बढ़ोतरी होती है , शुक्राणु की गतिशीलता बढ़ती है। यह वीर्य की कमी दूर करती है तथा वीर्य को गाढ़ा बनाती है।

यह लिंग में उत्तेजना की कमी को भी दूर करके उसे उत्तेजना के समय अधिक कड़क बनाने में तथा पूर्ण यौन संतुष्टि का अहसास कराने में सहायक होती है। इसके साथ अकरकरा का उपयोग करने से अधिक लाभ हो सकता है।

कुछ लोग अच्छा पौष्टिक भोजन लेने के बावजूद बहुत कृशकाय शरीर वाले बने रहते है जिसकी वजह से उन्हें ग्लानि महसूस होने लगती है। ऐसे में सफ़ेद मूसली फायदा करती है। इसे दूध के साथ कुछ समय लेने से शरीर हष्ट -पुष्ट और बलशाली हो जाता है। इसी फायदे को देखते हुए कई बॉडी बिल्डर भी इसका उपयोग करने लगे है।

इसके लिए पाचन तंत्र ठीक होना जरूरी होता है। यदि पाचन तंत्र कमजोर हो तो पहले उसे ठीक करके सफेद मूसली का उपयोग करना चाहिए। इसके लिए पहले कुछ दिन त्रिफला चूर्ण ले सकते है।  इसे शहद और त्रिकाटू के साथ लेने से भी पचने में आसानी हो सकती है।

अर्थराइटिस के कारण होने वाले जोड़ों के दर्द और सूजन में सफेद मूसली से आराम मिल सकता है। लेकिन यदि पहले वजन कम करना चाहिए फिर सफेद मूसली लेनी चाहिए।

महिलाओं के  लिए – Safed musli for ladies

महिलाओं के लिए भी सफेद मूसली का उपयोग उतना ही गुणकारी होता है , जितना कि पुरुषों के लिए । विशेष कर प्रसूता के लिए यह बहुत लाभदायक है। बच्चे के जन्म के बाद महिला मानसिक और शारीरिक रूप से कमजोर हो जाती है। ऐसे में सफ़ेद मूसली लेने से सभी प्रकार की कमजोरी दूर होकर शरीर वापस मजबूत हो जाता है।

इसके अलावा इसके उपयोग से नवजात शिशु की माँ के स्तन में दूध की वृध्दि होती है , जो शिशु के लिए जरुरी होता है। गर्भाशय तथा अन्य मांसपेशियों की ताकत भी पुनः लौटती है।

महिलाओं मे यौन सम्बन्ध के प्रति अरुचि पैदा हो सकती है। इसका कारण कमजोरी , थकान , योनि में स्राव की कमी के कारण जलन आदि हो सकते है। सफ़ेद मूसली का कुछ दिन लगातार उपयोग करने से इस प्रकार की सभी समस्याओं में आराम मिलता है तथा यौन सम्बन्ध के प्रति रूचि जाग्रत होती है।

यह शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढाती है। यह पेशाब की परेशानी से सम्बंधित रोग दूर करती है। यूरिन इन्फेक्शन तथा श्वेत प्रदर में भी इससे लाभ मिलता है।

सफ़ेद मूसली कैसे लें – How to take Safed Musli

—  सर्दी में बनने वाले गोंद के लड्डू बनाते समय उसमे 50 ग्राम सफ़ेद मूसली का पाउडर मिला लें। इन्हें सुबह शाम खायें। गोंद के लड्डू बनाने की विधि नीचे दी गई लिस्ट में क्लिक करके जान सकते है।

—  एक गिलास दूध में आधा चम्मच ( Teaspoon ) सफ़ेद मूसली का पाउडर , चीनी और थोड़ी सी इलायची मिलाकर गुनगुना पियें।

—  आधा चम्मच सफ़ेद मूसली का पाउडर और आधा चम्मच पिसी शक्कर मिलाकर पानी के साथ फांक लें।

—  मूसली पाक का उपयोग कर सकते है।

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